यूएनडीपी परियोजना से हिम तेंदुओं का संरक्षण, लगाए गए ट्रैप कैमरे।।

हरीश थपलियाल।।। उत्तरकाशी के उच्च हिमालयी क्षेत्रों में हिम तेंदुओं की गणना अब आसानी से पता लग सकेगा हिमालय परियोजना के तहत गोविंद वन्य जीव विहार में अब कैमरे लगने जा रहे हैं। उच्च हिमालयी क्षेत्रों में पहली दफा यह प्रयोग होने से  परियोजना के तहत गंगोत्री नेशनल पार्क से लेकर कुमाऊं की अस्कोट सेंचुरी तक के क्षेत्र में हिम तेंदुओं के संरक्षण ओर रूटीन प्रक्रिया पर खास फोकस किया जा रहा है। 

गोविंद वन्य जीव विहार के अधिकारियों के मुताबिक पार्क में ग्लेशियर वाले क्षेत्र, हिमाचल-उत्तराखंड की सीमा से सटे चाईंशिल, केदारकांठा सरूताल, देवक्यारा क्षेत्र में कस्तूरी मृग, जंगली भेड़ और हिम तेंदुओं की मौजूदगी के प्रमाण हैं। हालांकि अभी हिम तेंदुओं की संख्या का सटीक आंकलन का पता नहीं है। अधिकारियों की मानें तो योजना के तहत पार्क की अलग-अलग रेंजो में 10  ट्रैप कैमरे लगा दिए गए हैं। बीते कुछ दिनों से कैमरा ट्रैप की निगरानी की जा रही है।
गौरतलब है कि सिक्योर हिमालय परियोजना संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (यूएनडीपी) के सहयोग से देश के चार हिमालयी राज्यों उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और सिक्किम में चलाई जा रही है। उत्तराखंड सरकार ने  इस परियोजना के लिए यूएनडीपी से लगभग 3 करोड़ के आसपास की धनराशि मांगी है। परियोजना के तहत उच्च हिमालयी क्षेत्र में पड़ने वाले 60 गांवों में आजीविका विकास के कार्यक्रम भी संचालित किए जाएंगे। 

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